उत्तर प्रदेश : 1 लीटर दूध में के एक बाल्टी पानी मिलाकर 85 बच्चों को पिलाया, शिक्षा मित्र पर एफआईआर
उत्तर प्रदेश के आदिवासी बहुल सोनभद्र जिले के एक स्कूल में मिड-डे-मील में एक लीटर दूध में एक बाल्टी पानी मिलाकर 85 बच्चों में बांटने का मामला सामने आया था.
उत्तर प्रदेश के मीरजापुर जिले के एक स्कू में मिड-डे-मील में बच्चों को नमक-रोटी खिलाने का माममा तो आपको याद ही होगा. अब मीरजापुर के पड़ोसी जिले सोनभद्र के एक स्कूल से ही ऐसी ही खबर आई है.
सोनभद्र के एक स्कूल में 1 लीटर दूध में एक बाल्टी पानी मिलाकर उसे 81 बच्चों में बांट दिया गया.
इस प्राइमरी स्कूल के रसोइये की ओर से दूध में पानी मिलाने का वीडियो स्कूल के ही किसी स्टाफ ने बनाकर सोशल मीडिया पर डाल दिया.
यह मामला है सोनभद्र जिले के सलाइबनवा प्राइमरी स्कूल का है.
Sonbhadra DM: FIR lodged against Shiksha Mitra Jitendra for diluting milk with mala fide intention. Despite teachers on duty saying that they are getting more milk, he diluted milk before the stipulated time. Teachers also suspended for not ensuring that milk is there before time https://t.co/MSAr2rnoJI pic.twitter.com/yBl1yJ6DFN
— ANI UP (@ANINewsUP) November 29, 2019
समाचार एजेंसी एएनआई ने सोनभद्र के जिलाधिकारी के हवाले से खबर दी है कि प्रशासन ने शिक्षा मित्र के खिलाफ एफआईआर दर्ज करा दी है. वहीं समय पर दूध उपलब्ध न करा पाने के आरोप में इस प्राइमरी स्कूल के शिक्षकों को निलंबित कर दिया गया है.
प्रशासन की सफाई
स्कूल की रसोइया फूलवंती से जब पूछा गया कि एक पैकेट दूध में उन्होंने कितना पानी मिलाया? इस सवाल पर उन्होंने कहा कि एक पैकेट दूध में एक बाल्टी डाले हैं. जब यह पूछा गया कि दूध को कितने बच्चों को पिलाया? उनका उत्तर था 85 बच्चों को. रसोइए ने बताया कि शिक्षा मित्र के कहने पर उन्होंने ऐसा किया.
यह मामला सामने आने के बाद सोनभद्र के बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) गोरखनाथ पटेल ने कहा कि मामले की जांच के आदेश दे दिए गए हैं. उन्होंने कहा कि जांच की रिपोर्ट मिलने के बाद दोषियों पर कार्रवाई की जाएगी.
बीएसए ने बताया, ''मिड डे मील के लिए तय नियमों के मुताबिक, हर बच्चे को 150 मिली दूध मिलना चाहिए. हमारी जानकारी में जब मामला आया, तो हमने और दूध मंगवाकर बच्चों को पीने के लिए दिया.''
वहीं खंड शिक्षा अधिकारी (एबीएसए) मुकेश कुमार ने बताया कि स्कूल के स्टाफ से यह गलती तो हुई कि एक लीटर दूध में एक बाल्टी पानी मिलाकर 85 बच्चों को पिलाया गया. लेकिन इस गलती का एहसास होते ही स्कूल के लोगों ने पश्चाताप किया और ढाई घंटे बाद बच्चों को पूरा दूध पिलाया.
मिड-डे-मील में भ्रष्टाचार
इससे पहले उत्तर प्रदेश के मीरजापुर जिले में बच्चों को मिड-डे-मील में नमक-रोटी खिलाने का मामला सामने आया था. बच्चों को नमक-रोटी खिलाने का विडियो वायरल होने के बाद वहां के जिलाधिकारी ने विडियो बनाने वाले पत्रकार के खिलाफ ही एफआईआर दर्ज करा दी थी.
मीड-डे-मील में भ्रष्टाचार की बात सरकार ने भी स्वीकार की है. लोकसभा में बीजेपी के भारती प्रवीण पवार के एक सवाल पर मानव संसाधन विकास मंत्री डॉक्टर रमेश पोखरयाल निशंक ने बताया था कि पिछले तीन साल में देश भर में मिड-डे-मील में भ्रष्टाचार की 52 शिकायतें मिलीं. उन्होंने बताया था कि इन शिकायतों में यूपी की 14, बिहार की 11, पश्चिम बंगल की 6, महाराष्ट्र की 5, राजस्थान की 4, असम, दिल्ली, हरियाणा की 2-2 और छत्तीसगढ़, झारखंड, ओडीशा, पंजाब, त्रिपुरा और उत्तराखंड की एक-एक शिकायतें हैं.